कालसर्प दोष शांति के उपाय, ( Kaal Sarp Dosh Shanti ke upay ),
जिन व्यक्तियों की जन्म पत्रिका में काल सर्प योग, kaal sarp yog या कालसर्प दोष (kaal sarp dosh )होता है उसके जीवन में बहुत अधिक उतार-चढ़ाव आते हैं। समान्यता काल सर्पदोष, kaal sarp dosh से पीड़ित जातक जीवन भर संघर्ष ही करता रहता है, लाख प्रयास के बाद भी जीवन में अपेक्षित सफलता नही मिलती है, इसलिए उन्हें काल सर्पदोष के उपाय अनिवार्य रूप से कराने ही चाहिए। काल सर्पदोष की पूजा उपाय के लिए सावन माह विशेषकर सावन माह की पंचमी ” नाग पंचमी ” का दिन बहुत ही प्रभावशाली माना जाता है । मान्यता है कि इस दिन काल सर्पयोग के उपाय ( kaal sarp yog ke upay, ) शीघ्र ही फल देते है ।
कालसर्प योग के आसान उपाय ( kaal sarp yog ke upay )
- नाग पंचमी के दिन भगवान शिव का अभिषेक करते हुए चाँदी के नाग नागिन का जोड़ा शिवलिंग पर चढ़ा दें फिर अभिषेक की समाप्ति पर उसे ताम्बे के पात्र में विसर्जित करके , उस पात्र को अभिषेक कराने वाले पंडित को दान में दे दें , इससे काल सर्पदोष में बहुत ज्यादा राहत मिलती है ।
- नाग पंचमी के दिन 11 नारियल बहते हुए पानी में प्रवाहित करें, इससे काल सर्प दोष से अवश्य ही मुक्ति मिलती है, कार्यों में सफलता मिलने के योग बनने लगते है, जीवन में चली आ रही अस्थिरतायें दूर होती है।
- नाग पंचमी एवं प्रत्येक माह के दोनों पक्षो की पंचमी के दिन “ॐ कुरुकुल्ये हुं फट् स्वाहा” मन्त्र का जाप अवश्य ही करें। इससे काल सर्प योग ( kaal Sarp Yog ) के दुष्प्रभाव में कमी होती है ।
- नाग पंचमी के दिन नागदेव की सुगंधित पुष्प व चंदन से ही पूजा करनी चाहिए क्योंकि नागदेव को सुगंध बहुत प्रिय है, इससे नाग देवता प्रसन्न होते है और काल सर्प दोष में कमी आती है।
- जिस भी जातक पर काल सर्प दोष हो उसे कभी भी नाग की आकृति वाली अंगूठी को नहीं पहनना चाहिए ।
- नाग पंचमी (Nag Panchmi)के दिन महामृत्युंज्य मंत्र का जाप करें या उसकी कैसेट सुनें।
- श्रावण मास में 30 दिनों तक महादेव का अभिषेक करें।
- श्रावण के प्रत्येक सोमवार को शिव मंदिर में दही से भगवान शंकर पर – हर हर महादेव’ कहते हुए अभिषेक करें।
- श्रावण मास में रूद्र-अभिषेक कराए एवं महामृत्युंजय मंत्र की एक माला का जाप रोज करें।
- सावन में शिवलिंग पर प्रतिदिन मीठे दूध में भाँग डाल कर चढ़ाएँ इससे गुस्सा शांत होता है, साथ ही सफलता तेजी से मिलने लगती है।
- किसी शुभ मुहूर्त में ओउम् नम: शिवाय’ की 21 माला जाप करने के उपरांत शिवलिंग का गाय के दूध से अभिषेक करें और शिव को प्रिय बेलपत्रा आदि श्रध्दापूर्वक अर्पित करें। साथ ही तांबे का बना सर्प शिवलिंग पर समर्पित करें।
- श्रावण महीने के हर सोमवार का व्रत रखते हुए शिव का रुद्राभिषेक करें। शिवलिंग पर तांबे का सर्प विधिपूर्वक चढ़ायें।
- पंचमी के दिन 11 नारियल बहते हुए पानी में प्रवाहित करने से काल सर्पदोष दूर होता है , यह उपाय श्रवण माह की पंचमी अर्थात नाग पंचमी (Nag Panchmi) को करना बहुत फलदायी होता है ।
- घर की चौखट पर मांगलिक चिन्ह बनवाने विशेषकर चाँदी का स्वास्तिक जड़वाने से शुभता आती है, काल सर्पदोष (Kaal Sarp Dosh) में कमी आती है ।
- शिव के ही अंश बटुक भैरव की आराधना से भी इस दोष से बचाव हो सकता है।
- 108 राहु यंत्रों को जल में प्रवाहित करें।
- चौबीस मोर पंख लेकर उसकी झाडू बनवाकर इसे सदैव शयनकक्ष में रखे तथा प्रतिदिन राहुकाल के समय इससे जातक के शरीर पर झाड़ा लगाये।
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